Lawrence Bishnoi (Center)

Lawrence Bishnoi : कैसे कॉलेज का छात्र बना मोस्ट-वांटेड गैंगस्टर?

Lawrence Bishnoi: 2022 में पंजाब के मनसा जिले में मशहूर पंजाबी गायक सिद्धू मूसेवाला की दिनदहाड़े हत्या कर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मशहूर हुये कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई का गैंग (बिश्नोई गिरोह ) एक बार फिर सुर्खियों में है, शनिवार को महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री बाबा सिद्दीकी की हत्या के बाद एक बार फिर से. इस बार भी उसके गैंग के सदस्यों ने मुंबई के अनुभवी राजनेता सिद्दीकी की हत्या की जिम्मेदारी ली है.

Lawrence Bishnoi (center)

भारत के अपराध जगत में लॉरेंस बिश्नोई का नाम एक ऐसा उदाहरण बन गया है जो दर्शाता है कि कैसे एक साधारण छात्र अपराध की दुनिया में घिरकर देशभर में कुख्यात गैंगस्टर बन सकता है। राजस्थान के एक संपन्न परिवार से आने वाला बिश्नोई कभी कॉलेज का एक साधारण छात्र और युवा नेता था। लेकिन आपराधिक दुनिया की लत और हिंसक प्रवृत्ति ने उसे पुलिस के मोस्ट-वांटेड अपराधियों की सूची में शामिल कर दिया।

Lawrence Bishnoi की कहानी इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि वह न केवल खुद अपराध करता है, बल्कि उसने पूरे उत्तर भारत में एक बड़ा गैंग नेटवर्क खड़ा कर दिया, जो आज भी कई राज्यों में सक्रिय है। उसके नाम से जुड़े कुछ हाई-प्रोफाइल अपराधों ने न केवल कानून-व्यवस्था पर सवाल खड़े किए बल्कि बॉलीवुड और खेल जगत तक को हिला कर रख दिया।

लॉरेंस बिश्नोई का प्रारंभिक जीवन और अपराध की ओर बढ़ता कदम

लॉरेंस बिश्नोई का जन्म राजस्थान के फाजिल्का जिले में हुआ था। उसका परिवार आर्थिक रूप से मजबूत था और उसे अच्छी शिक्षा भी मिली। वह पढ़ाई में सामान्य था, लेकिन खेलों और युवाओं के बीच लोकप्रिय था। कॉलेज में पढ़ाई के दौरान, वह राजनीति की ओर आकर्षित हुआ और छात्र संघ चुनावों में सक्रिय रूप से हिस्सा लेने लगा।

यहीं से उसकी मुलाकात अपराधी प्रवृत्ति के लोगों से हुई, और उसके भीतर सत्ता और वर्चस्व की भूख पैदा होने लगी। यह वही समय था जब उसका सामना कई दुश्मन गुटों से हुआ, और उसने खुद को बचाने और दबदबा बनाने के लिए अपराध की दुनिया में कदम रखा। धीरे-धीरे वह स्थानीय अपराधियों के संपर्क में आया और अवैध गतिविधियों में लिप्त होने लगा।

Lawrence Bishnoi का गैंग नेटवर्क और कुख्यात अपराध

लॉरेंस बिश्नोई ने खुद को सिर्फ एक अपराधी तक सीमित नहीं रखा। उसने कॉलेज के दोस्तों और छोटे अपराधियों को संगठित कर एक बड़ा गैंग तैयार किया, जिसे बाद में “लॉरेंस बिश्नोई गैंग” के नाम से जाना गया। यह गैंग आज पंजाब, राजस्थान, हरियाणा, और दिल्ली-एनसीआर में सक्रिय है। उसके गैंग का मुख्य धंधा रंगदारी, सुपारी किलिंग और हथियारों की तस्करी है।

पंजाबी गायक Sidhu Moosewala की हत्या

लॉरेंस बिश्नोई का नाम तब सबसे ज्यादा सुर्खियों में आया जब मशहूर पंजाबी गायक सिद्धू मूसेवाला की हत्या कर दी गई। यह घटना एक ऐसे गैंगवार का परिणाम थी, जो बिश्नोई के प्रतिद्वंद्वियों के बीच बढ़ी हुई प्रतिशोध की भावना का परिणाम थी। Sidhu Moosewala की हत्या ने ना केवल उनके प्रशंसकों को बल्कि समूचे देश को झकझोर दिया। इस हत्या की साजिश बिश्नोई ने अपने साथियों के साथ मिलकर जेल में ही रची थी, जिससे यह साफ हो गया कि उसका नेटवर्क कितना मजबूत और प्रभावशाली है।

सलमान ख़ान को धमकी और हत्या की साजिश।

Lawrence Bishnoi का नाम तब भी चर्चा में आया जब उसने बॉलीवुड सुपरस्टार सलमान ख़ान को धमकी दी। बिश्नोई ने खुलेआम कहा था कि वह काला हिरण शिकार मामले को लेकर सलमान को मारेगा, क्योंकि बिश्नोई समुदाय काले हिरण को पवित्र मानता है। बाद में उसके गैंग ने Salman khan के घर के बाहर रेकी भी की और उन्हें धमकी भरे पत्र भेजे। इस घटना ने बॉलीवुड में खौफ का माहौल बना दिया, और सलमान को सुरक्षा बढ़ाने के लिए मजबूर होना पड़ा।

गैंगवार और कई सुपारी किलिंग्स

लॉरेंस बिश्नोई ने उत्तर भारत में कई गैंगवार को अंजाम दिया। उसने अपने विरोधी गैंग्स के सदस्यों की हत्या कराई और सुपारी लेकर कई बड़ी हत्याएँ कीं। उसका नेटवर्क ड्रग्स और हथियारों की तस्करी से भी जुड़ा है, जो उसे आर्थिक रूप से मजबूत बनाता है। हाल ही में, उसकी गैंग ने एक प्रमुख नेता के करीबी सहयोगी की हत्या कर दी, जिससे एक बार फिर से बिश्नोई का नाम सुर्खियों में आ गया।

हालिया अपराध: हरियाणा में शूटआउट (2023)

हाल ही में, लॉरेंस बिश्नोई गैंग के एक सदस्य ने हरियाणा में एक प्रमुख व्यवसायी को गोलियों से भून दिया। यह हत्या गैंगवार का हिस्सा थी, जिसमें बिश्नोई के प्रतिद्वंद्वी गुट का एक व्यक्ति मारा गया। यह घटना इतनी नाटकीय थी कि गोलियों की आवाज सुनकर आसपास के लोग भाग खड़े हुए। जब पुलिस मौके पर पहुंची, तो उन्होंने बिश्नोई के गैंग के दो सदस्यों को गिरफ्तार कर लिया। लेकिन बिश्नोई, जो इस समय जेल में बंद है, ने फिर से अपने प्रतिशोध की योजना बना ली।

Lawrence Bishnoi के साथ मिला है जेल प्रशासन?

लॉरेंस बिश्नोई की सबसे खतरनाक बात यह है कि वह जेल में रहते हुए भी अपने गैंग को ऑपरेट करता है। वह मोबाइल फोन और नेटवर्क के जरिए अपने गुर्गों को निर्देश देता है। सिद्धू मूसेवाला की हत्या इसका एक बड़ा उदाहरण है। जेल में बंद होने के बावजूद बिश्नोई अपने दुश्मनों से बदला लेने के लिए नए हमले की साजिशें रचता रहता है।जेल में रहने के बावजूद इतने बड़े अपराधों को अंजाम देना और उसकी जिम्मेवारी लेना कहीं ना कहीं जेल प्रशासन को भी शक के घेरे में खड़ा करता है कि कैसे ये सब उनकी नाक के नीचे हो रहा है क्या कोई मिलीभगत तो नहीं?

पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों के लिए चुनौती

लॉरेंस बिश्नोई का नेटवर्क इतना मजबूत है कि पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों के लिए उसे काबू करना एक बड़ी चुनौती बन गया है। बार-बार जेल में डालने के बावजूद उसके आपराधिक गतिविधियों पर लगाम नहीं लग पाई है। कई बार उसके खिलाफ ऑपरेशन चलाए गए, लेकिन उसका गैंग नेटवर्क खत्म नहीं किया जा सका।

क्या कभी खत्म होगा बिश्नोई का आतंक?

लॉरेंस बिश्नोई की कहानी दिखाती है कि कैसे राजनीतिक महत्वाकांक्षा और वर्चस्व की भूख किसी को अपराध की दुनिया में धकेल सकती है। उसका नाम आज सिर्फ एक गैंगस्टर तक सीमित नहीं है, बल्कि वह कई युवाओं के लिए एक खतरनाक आइकन बन चुका है।

हालाँकि पुलिस और सरकारें उसके नेटवर्क को खत्म करने के खोखले दावे करती आई है लेकिन यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या बिश्नोई गैंग का आतंक कभी पूरी तरह से खत्म किया जा सकेगा। लॉरेंस बिश्नोई का नाम भारत के आपराधिक इतिहास में हमेशा एक खतरनाक गैंगस्टर के रूप में याद किया जाएगा।

आज जब हम बिश्नोई की कहानी सुनते हैं, तो यह सोचने पर मजबूर करता है कि क्या असली कानून और व्यवस्था कभी इन अपराधियों पर काबू पाएगी? क्या ऐसे गैंगस्टर, जो खुद को इतना शक्तिशाली मानते हैं, कभी कानून की गिरफ्त में आ पाएंगे? भारत की धरती पर खतरनाक गैंगस्टर्स की कहानी अभी खत्म नहीं हुई है, और लॉरेंस बिश्नोई इसका ज्वलंत उदाहरण है।

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